जब गठबंधन टूटा तो गिरीश महाजन हाफ पैंट पहनकर घूम रहे थे; एकनाथ खडसे का हमला

    10-Aug-2023
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when the alliance broke girish mahajan was roaming around wearing half pant eknath khadse attack - Abhijeet Bharat
 
जलगांव : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महाराष्ट्र में सांसदों की बैठक में ये बयान दिया कि वो उद्धव ठाकरे ही थे जिन्होंने शिवसेना-बीजेपी गठबंधन तोड़ा है। मोदी के बयान का सुधीर मुनगंटीवार से लेकर गिरीश महाजन तक ने समर्थन किया है। बीजेपी नेताओं का कहना है कि मोदी द्वारा दी गई जानकारी सही है। हालांकि, एनसीपी नेता एकनाथ खडसे ने इन नेताओं के बयान का खंडन किया है। एकनाथ खडसे ने आलोचना की है कि जब गठबंधन टूटा तो गिरीश महाजन हाफ पैंट पहनकर घूम रहे थे।
 
एनसीपी नेता एकनाथ खडसे मीडिया से बातचीत कर रहे थे। जब बीजेपी-शिवसेना का गठबंधन टूटा तो गिरीश महाजन हाफ पैंट पहनकर घूम रहे थे। गिरीश महाजन उस वक्त किसी भी चर्चा में शामिल नहीं थे। उस दौरान दिल्ली की कोर कमेटी की बैठकों में महाजन को आमंत्रित नहीं किया गया था। उस समय बीजेपी का फार्मूला देवेन्द्र फड़णवीस के पास था और मैं विपक्ष का नेता था। इसलिए एकनाथ खडसे ने चेतावनी देते हुए कहा कि उन्हें कम से कम जानकारी के साथ बात करनी चाहिए और कहा कि महाजन को इनमें से किसी भी बात की जानकारी नहीं है।
 
मेरी वफादारी बनी हुई है
 
महाराष्ट्र में मेरी वफादारी अभी खत्म नहीं हुई है। लोग मुझ पर भरोसा करते हैं। मैंने उनके विश्वास को कभी टूटने नहीं दिया। उन्होंने यह भी कहा कि मैंने कोई वादा नहीं किया था कि मैं कपास को दाम दूंगा और जलगांव का विकास करूंगा।
 
अब नैतिकता कहां है?
 
इस दौरान उन्होंने उप-मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की भी आलोचना की। कल तक जिन्हें नेशनल करप्ट पार्टी के नाम से भ्रष्ट कहा जाता था, आज गिरीश महाजन के नेता उनके साथ कुर्सी से कुर्सी तक बैठते हैं। उन्होंने कहा, तो अब नैतिकता कहां है। हमें नैतिकता नहीं सिखानी चाहिए। आप एक भ्रष्ट पार्टी के साथ गठबंधन करके करीब आये हैं। उन्होंने यह भी कहा कि यह महाराष्ट्र में आपकी लाचारी को दर्शाता है।
 
मुनगंटीवार को कम जानकारी
 
इस बार उन्होंने सुधीर मुनगंटीवार की राय भी हटा दी। सुधीर मुनगंटीवार आंशिक रूप से ही जानते हैं। शिवसेना ने सीटें बढ़ाने की मांग नहीं की। क्योंकि शिवसेना के पास 171 सीटें थीं और बीजेपी के पास 117 सीटें थीं। उस वक्त बीजेपी को लगा कि माहौल उसके पक्ष में है। इसलिए गठबंधन में सीट बंटवारे पर चर्चा करते हुए बीजेपी ने 145 सीटों की मांग की। सीधे 117 से 145 सीटों की मांग की गई। लेकिन शिवसेना ने कुछ सीटें देने का विरोध किया था।
 
इससे गठबंधन में तनाव पैदा हो गया। बीजेपी भी यही चाहती थी। क्योंकि बीजेपी की अपने दम पर लड़ने की रणनीति पहले से ही तय थी। इस रणनीति में मैं भी शामिल था और खडसे ने कहा, इसके बाद सर्वसम्मति से गठबंधन तोड़ने का फैसला लिया गया। मुनगंटीवार ने कहा था कि बीजेपी ने गठबंधन नहीं तोड़ा है। खडसे ने उनकी बात का खंडन करते हुए यह जानकारी दी।